श्रीकृष्णयामलमहातन्त्रम् (Shrikrisnayamalam Mahatantram) श्री राधेश्याम चतुर्वेदी द्वारा रचित एक महत्वपूर्ण तांत्रिक ग्रंथ है, जो श्रीकृष्ण और यामल तंत्र के सिद्धांतों पर आधारित है। इस ग्रंथ में श्रीकृष्ण की उपासना, तांत्रिक साधना विधियों, और आध्यात्मिक उन्नति के मार्ग को विस्तार से समझाया गया है।
ग्रंथ के मुख्य विषय:
- श्रीकृष्ण और यामल तंत्र: इस खंड में श्रीकृष्ण की तांत्रिक महिमा और यामल तंत्र की परंपरा का विस्तृत वर्णन है। यामल तंत्र तंत्र शास्त्र की एक गूढ़ शाखा है, जिसमें योग, साधना, और तांत्रिक क्रियाओं का विशेष महत्व है।
- उपासना विधि: इसमें श्रीकृष्ण की तांत्रिक उपासना की विधि का विस्तार से वर्णन किया गया है। यह उपासना साधक को श्रीकृष्ण के दिव्य स्वरूप के साथ तांत्रिक ऊर्जा का अनुभव करने में मदद करती है।
- मंत्र साधना: ग्रंथ में विभिन्न तांत्रिक मंत्रों का वर्णन है, जो साधक को साधना के दौरान उपयोग करने होते हैं। इन मंत्रों के सही उच्चारण और विधि का विस्तार से वर्णन किया गया है।
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